तमंचे और चैन स्नेचिंग के खेल का अंत: यूपी एसटीएफ के हत्थे चढ़ा 50 हज़ार का इनामी बदमाश और साथी
आजमगढ़ पुलिस और स्पेशल टास्क फोर्स (एसटीएफ) ने मिलकर 50,000 रुपये के इनामी अपराधी कपिल रैदास और उसके साथी विजय कुमार उर्फ धनराज को तमसा नदी पुल के पास से गिरफ्तार कर लिया। इन शातिर बदमाशों पर लूट, चैन स्नैचिंग और अवैध हथियार रखने के कई गंभीर मामले दर्ज हैं।
गिरफ्तारी और बरामदगी
गिरफ्तारी 2 दिसंबर 2024 को तमसा नदी पुल के पश्चिमी छोर पर हुई। अभियुक्तों से एक तमंचा, एक जिंदा कारतूस और आधार कार्ड बरामद किया गया।
अपराध का इतिहास
1. कपिल रैदास: यह 2017 से सक्रिय है और उत्तर प्रदेश, हरियाणा और चंडीगढ़ में चैन स्नैचिंग और लूट की वारदातों को अंजाम देता था। 2022 में लखनऊ जेल में विजय धनराज से मुलाकात के बाद दोनों ने मिलकर कई आपराधिक घटनाओं को अंजाम दिया। कपिल पर हरियाणा पुलिस ने भी 5,000 रुपये का इनाम घोषित किया था।
2. विजय धनराज: लगभग 35 वर्षीय यह अपराधी 2015 में पहली बार जेल गया था और 9 साल बाद रिहा हुआ। विजय पर लखनऊ और सुल्तानपुर में लूट और गैंगस्टर एक्ट के कई मामले दर्ज हैं।
इन अपराधों से होता था फायदा
दोनों बदमाश चैन स्नैचिंग और लूट से मोटी रकम और महंगे गहने हासिल कर अवैध हथियार खरीदते थे। उनके निशाने पर भीड़-भाड़ वाले इलाके और गहनों से सजी महिलाएं रहती थीं।
मुकदमों की फेहरिस्त
कपिल पर आजमगढ़, लखनऊ और हरियाणा समेत 14 से अधिक मामले दर्ज हैं।
विजय पर लखनऊ, सुल्तानपुर और रायबरेली में 11 से ज्यादा मामले दर्ज हैं।
आगे की कार्रवाई
कपिल को आजमगढ़ के लूट मामले में जेल भेजा गया, जबकि विजय पर आर्म्स एक्ट के तहत मामला दर्ज हुआ। पुलिस अब इनके गिरोह के अन्य सदस्यों की तलाश कर रही है।
चैन स्नैचिंग और लूट के इस गैंग का पर्दाफाश पुलिस की बड़ी कामयाबी मानी जा रही है।