100 वर्ष पुराना वट वृक्ष होगा नोएडा के विरासत का प्रतीक

नोएडा । पूर्वजो से मिले विरासती पेड़ो को संरक्षित करने तथा लोगों को इसके प्रति जागरूक करने के लिए वन विभाग ने शुरुआत की है। इसके तहत ओखला पक्षी विहार में 100 वर्ष पुराना बरगद यानि वट वृक्ष को गौतमबुद्ध नगर जनपद के विरासत का प्रतीक बनाया गया है। वन विभाग जिले की विरासत को संवारने और इतिहास में एक और पन्ना जोड़ने की पहल पर काम कर रहा है। जनपद गौतमबुद्ध नगर के डीएफओ प्रमोद कुमार श्रीवास्तव ने बताया कि ओखला में विरासत वृक्ष वाटिका बनाने की कवायद शुरू की गई है। उन्होंने कहा कि गांव अच्छेजा और ओखला में 100 वर्ष से पुराने तीन पेड़ चिह्नित किए गए हैं। तीनों पेड़ों का संरक्षण और संवर्धन किया जा रहा है। शुरुआत में ओखला में विरासत वृक्ष वाटिका बनाने की पहल की जा रही है। अच्छेजा और ओखला पक्षी विहार के अलावा जिले में विरासत पेड़ों की संख्या 1250 है।

यह भी देखे:-

World Arthritis Day 2021: आइए जानें अर्थराइटिस से जुड़े 7 मिथकों की सच्चाई!
ऑफिस से लाखों रुपए का सामान चोरी
गाजियाबाद: नौवीं मंजिल पर खेलते वक्त रेलिंग के जाल में फंसा डॉगी, निकालने गई बच्ची गिरी नीचे, दोनों ...
कोरोना की तीसरी लहर के लिए बच्चों का आसीयू कितना तैयार, विशेष सचिव ने जिम्स का किया निरीक्षण
डॉक्टर के मकान में लगी आग,  फायरकर्मियों ने जान पर खेलकर बचाई 13 लोगों की जान, दो फायरकर्मी घायल 
जहांगीरपुर में बंदरों से परेशान हैं,कस्बेवासी व व्यापारी
गुजरात: अतीक अहमद से मिलने पर अड़े थे ओवैसी, प्रशासन ने अनुमति देने से किया इनकार
Delhi cloverleaf: नोएडा-दिल्ली लिंक रोड पर जाम से मिली मुक्ति, एक साथ शुरू हुए 2 क्लोवरलीफ
बाल दिवस : युवा संघर्ष समिति के तत्वधान में सौहरखा छात्र दौड़ प्रतियोगिता का आयोजन
साइकिल से घर लौट रहे सिक्योरिटी गार्ड से राइफल लूटी
भाकियू आराजनैतिक संगठन के कार्यकर्ताओं ने  नोएडा प्राधिकरण का किया  घेराव
स्काइलाइन ग्रुप ऑफ़ इंस्टीटूशन्स में पूल कैंपस में २ ५ छात्रों का चयन
निर्वाचन आयोग ने 22 जनवरी तक रैलियों और रोड शो पर लगाई रोक,जानिए चुनाव प्रचार के क्या हो सकते हैं वि...
ग्रेटर नोएडा में कोजीकार देगी कार डिटेलिंग की आधुनिक सुविधा :अभिषेक पाराशर
लखीमपुर में उपद्रव व हिंसा : लखनऊ में घर के बाहर धरने पर बैठे अखिलेश यादव, विपक्ष की सियासत तेज
करप्शन फ्री इंडिया संगठन के ग्राम अध्यक्ष बने यतेंद्र नागर