फरवरी 2024 तक क्रियाशील हो जाएगा मेडिकल डिवाइस पार्क
केंद्रीय औषध विभाग ने मेडिकल डिवाइस पार्क के शुरू होने का कार्यक्रम तय कर दिया है। फरवरी 2024 तक मेडिकल डिवाइस पार्क क्रियाशील हो जाएगा। आवंटियों को प्रोडक्ट बदलने का मौका भी मिलेगा। औषध विभाग ने मेडिकल डिवाइस पार्क के लिए 340 उपकरणों की सूची जारी की है। इनमें से कुछ हो शामिल करते हुए इसी माह अगली भूखंड योजना निकाली जाएगी।
देश के चार राज्यों तमिलनाडु, हिमाचल प्रदेश, मध्य प्रदेश व उत्तर प्रदेश में मेडिकल डिवाइस पार्क विकसित किए जा रहे हैं। उत्तर प्रदेश में मेडिकल डिवाइस पार्क को यमुना प्राधिकरण के सेक्टर 28 में विकसित किया जा रहा है। यमुना प्राधिकरण इसमें 59 भूखंड आवंटित कर चुका है। सचिव औषध विभाग ने मेडिकल डिवाइस पार्क परियोजना की
समीक्षा कर इन्हें फरवरी 2024 तक क्रियाशील करने के निर्देश दिए हैं। इसके साथ ही पार्क में उन चिकित्सा उपकरण इकाइयों की स्थापना के निर्देश दिए गए हैं जिनका भारत में निर्माण नहीं होता है और विदेश से आयात किया जा रहा है। विभाग ने 340 उपकरण की सूची जारी कर परियोजना में शामिल करने को कहा है। प्राधिकरण सीईओ डा. अरुणवीर सिंह का कहना है कि आवंटियों को भूखंड पर जल्द कब्जा दिया जाएगा। पार्क के लिए निर्धारित उपकरणों की सूची में विस्तार करते हुए अगली भूखंड योजना निकाली जाएगी। केंद्र सरकार मेडिकल डिवाइस पार्क के लिए सौ करोड़ रुपये का अनुदान दे रही है। जून तक इसकी दूसरी किस्त और अक्टूबर तक सभी चारों किस्त प्राधिकरण को लेनी होंगी।
उत्पाद बदलने का मिलेगा मौका
मेडिकल डिवाइस पार्क के पहले चरण में 37 भूखंड आवंटित हुए हैं। इसमें नौ भूखंड आक्सीजन कंसंट्रेटर, 11 भूखंड एनेस्थीसिया उपकरण की निर्माण इकाई के लिए आवंटित किए गए हैं। इनकी कम मांग को देखते हुए आवंटियों को मौका दिया जाएगा कि वह अन्य उत्पाद के निर्माण की ईकाई लगा सकें।