ईंट भट्टा संचालकों को जिला प्रशासन का निर्देश, पढ़ें
जनपद में संचालित समस्त ईट भटठा स्वामी निर्धारित अवधि में देय विनिमयन शुल्क, आवेदन शुल्क एवं पलोथन शुल्क धनराशि कराये जमा।शासन एवं जिला अधिकारी गौतम बुद्ध नगर के निर्देशों के क्रम में अपर जिलाधिकारी वित्त एवं राजस्व/वरिष्ठ प्रभारी अधिकारी (खनन) गौतम बुद्ध नगर वन्दिता श्रीवास्तव जनपद के समस्त ईट भटठा स्वामियों का आह्वान करते हुए जानकारी दी है कि जनपद के ईट-भट्ठा स्वामियों को http://upmines.upsdc.gov.in पोर्टल पर आनलाईन आवेदन करना होगा। आवेदन के साथ आवेदन शुल्क 2000/-रुपए, ईट भट्ठा स्वामी का विवरण, भटठा स्थल का विवरण, भट्ठा का प्रकार (जिग-जैग), पायों की संख्या, ईट मिटटी के खनन क्षेत्र का विवरण, भट्ठा-सत्र तथा साथ ही ईट-भट्ठे के सम्बन्ध में विनियमन शुल्क बकाया न होने का शपथ-पत्र प्रस्तुत करना होगा। फीड की गयी सूचना के अनुसार ईट-भट्ठों में पायों की संख्या के आधार पर निर्धारित विनियमन शुल्क पर 10 प्रतिशत पलोथन (बलुई मिटटी) की धनराशि अग्रिम रूप से पोर्टल पर प्रदर्शित लिंक के माध्यम से आनलाइन भूतत्व एवं खनिजकर्म विभाग के लेखाशीर्षक ” 0853-अलौह खनन तथा धातुकर्म उद्योग – 102 – खनिज रियायत शुल्क किराया और स्वत्व शुल्क” में जमा की जायेगी। ईट भटटा स्वामियों को उ0प्र0 प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड, ग्रेटर नोएडा / नोएडा से Consent प्राप्त करने उपरान्त ही ईट भटठा का संचालन यथा ईट मिटटी की खुदाई व पथाई का कार्य किया जा सकेगा। उन्होंने यह भी बताया कि यदि ईट- भटठा स्वामियों द्वारा निर्धारित अवधि में देय विनिमयन शुल्क, आवेदन शुल्क एवं पलोथन शुल्क धनराशि जमा नही किया जाता है तो निर्धारित ब्याज की दर से देय धनराशि नियमानुसार भू-राजस्व की भाँति वसूल की जायेगी। उन्होंने यह भी कहा कि समस्त ईट-भटठा स्वामी द्वारा मा0 न्यायालयों/मा0 राष्ट्रीय हरित न्यायाधिकरण व राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र और निकटवर्ती क्षेत्र वायु गुणवत्ता प्रबंधन आयोग (GRAP) के निर्देशों का अनुपालन सुनिश्चित किया जायेगा।