सीएम योगी ने बाढ़ ग्रस्त इलाकों का किया हवाई सर्वेक्षण, राहत सामग्री वितरित की
मुख्यमंत्री का जनपद संतकबीरनगर भ्रमण
बाढ़ प्रभावित इलाकों का हवाई सर्वेक्षण
कर बाढ़ पीड़ितों को राहत सामग्री वितरित की
आपदा की इस घड़ी में केंद्र व राज्य सरकार हर पीड़ित व्यक्ति के साथ: मुख्यमंत्री
बाढ़ पीड़ितों के लिए पर्याप्त मात्रा में खाद्यान्न व अन्य सामग्री का वितरण कराया
जा रहा, इस कार्य में जनप्रतिनिधिगण तथा प्रशासन के लोग पूरी तत्परता से लगे
बाढ़ से पीड़ित लोगों तक राहत सामग्री व अन्य जरूरी सहायता उपलब्ध
कराते हुए उन्हें सुरक्षित स्थानों पर पहुंचना राज्य सरकार की पहली प्राथमिकता
धनघटा तहसील क्षेत्र में नदी तटबंध के उस पार रहने वाले लोगों को हर
साल बाढ़ आपदा की स्थिति से बचाने के लिए इस पार सुरक्षित
स्थान पर बसाने की कार्ययोजना बनाई जाए
बाढ़ का पानी हटते ही स्वच्छता व सैनिटाइजेशन का व्यापक
कार्यक्रम चलाया जाए ध्यान रखा जाए कि बीमारी न पनपने पाए
हर स्वास्थ्य केंद्र पर एंटी स्नेक वेनम व एंटी
रैबीज इंजेक्शन की उपलब्धता सुनिश्चित कराई जाए
स्वास्थ्य शिविरों का आयोजन करने के साथ ही
लोगों को स्वच्छता व शुद्ध पेयजल के लिए जागरूक किया जाए
जिनके मकान क्षतिग्रस्त हो गए हैं उन्हें मुख्यमंत्री आवास योजना के
तहत आवास या मकान बनवाने के लिए 1.20 लाख रु0 उपलब्ध कराने के निर्देश
लखनऊ: 13 अक्टूबर, 2022
उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने आज जनपद संतकबीरनगर के बाढ़ प्रभावित इलाकों का हवाई सर्वेक्षण किया। इसके पश्चात उन्होंने धनघटा तहसील के छपरा मगर्वी में दिव्यांश पब्लिक स्कूल परिसर में बाढ़ पीड़ितों से भेंट करने के बाद उन्हें राहत सामग्री वितरित की। मुख्यमंत्री जी ने बाढ़ प्रभावित लोगों को आश्वस्त किया कि आपदा की इस घड़ी में केंद्र व राज्य सरकार हर पीड़ित व्यक्ति के साथ खड़ी है। बाढ़ पीड़ितों के लिए पर्याप्त मात्रा में खाद्यान्न व अन्य सामग्री का वितरण कराया जा रहा है। इस कार्य में जनप्रतिनिधिगण तथा प्रशासन के लोग पूरी तत्परता से लगे हैं। उन्होंने कहा कि बाढ़ से पीड़ित लोगों तक राहत सामग्री व अन्य जरूरी सहायता उपलब्ध कराते हुए उन्हें सुरक्षित स्थानों पर पहुंचना राज्य सरकार की पहली प्राथमिकता है।
मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को निर्देशित किया कि बाढ़ का पानी हटते ही स्वच्छता व सैनिटाइजेशन का व्यापक कार्यक्रम चलाया जाए। यह ध्यान रखा जाए कि बीमारी न पनपने पाए। हर स्वास्थ्य केंद्र पर एंटी स्नेक वेनम व एंटी रैबीज इंजेक्शन की उपलब्धता सुनिश्चित कराई जाए। स्वास्थ्य शिविरों का आयोजन करने के साथ ही लोगों को स्वच्छता व शुद्ध पेयजल के लिए जागरूक किया जाए। उन्होंने ईश्वर से प्रार्थना की कि सभी लोग जल्द ही आपदा से मुक्त होकर मंगलमय तरीके से दिवाली मनाएं।
मुख्यमंत्री ने कहा कि धनघटा तहसील क्षेत्र में नदी तटबंध के उस पार रहने वाले लोगों को हर साल बाढ़ आपदा की स्थिति से बचाने के लिए इस पार सुरक्षित स्थान पर बसाने की कार्ययोजना बनाई जाए। शासन के अधिकारी इस पर गंभीरता से विचार करें, जिससे हर वर्ष आने वाली बाढ़ की त्रासदी से लोगों को बचाया जा सके। उन्होंने कहा कि बाढ़ के संकट से जनता को उबारने के लिए सरकार दृढ़ संकल्पित है और इसी के अनुरूप राहत व बचाव कार्य तेजी से आगे बढ़ाए जा रहे हैं। संकट की इस घड़ी में सरकार हर पीड़ित के साथ पूरी संवेदनशीलता व तत्परता से खड़ी है। प्रत्येक पीड़ित को हर संभव सहायता उपलब्ध कराई जा रही है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि बाढ़ से जिनके मकान क्षतिग्रस्त हो गए हैं उन्हें मुख्यमंत्री आवास योजना के तहत आवास या मकान बनवाने के लिए 1.20 लाख रुपये उपलब्ध कराने के निर्देश दिए गए हैं। किसानों की क्षतिग्रस्त फसलों का सर्वे कराकर उन्हें 18 हजार रुपए प्रति हेक्टेयर की दर से क्षतिपूर्ति दी जाएगी। इसी तरह दुधारू पशु गाय, भैंस आदि के मरने पर 37500 रुपये, बकरी, भेड़, सूअर के मरने पर 4000 रुपये, गैर दुधारू पशु ऊंट, घोड़ा आदि के मरने पर 32000 रुपये, बछड़ा, गधा, टट्टू आदि के मरने पर 20000 रुपये की दर से पशुपालकों को सहायता राशि दी जाएगी। मुर्गी पालकों को हुई क्षति पर प्रति मुर्गी 100 रुपये की दर से सहायता प्रदान की जाएगी।
इस अवसर पर जनप्रतिनिधिगण सहित शासन-प्रशासन के वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।