लखीमपुर खीरी : अंतिम अरदास में किसी भी राजनेता को मंच साझा करने की अनुमति नहीं , राकेश टिकैत भी पहुंचे
लखीमपुर खीरी की हिंसा में मृत चार किसानों की तिकुनिया में आज अंतिम अरदास होगी। संयुक्त किसान मोर्चा के साथ ही भारतीय किसान यूनियन ने इसमें किसी भी राजनेता को मंच साझा करने की अनुमति नहीं दी है। मंगलवार को होने वाली अंतिम अरदास के पहले भारतीय किसान यूनियन टिकैत ने यह बयान जारी किया है। तिकुनिया गांव में जहां हिंसा हुई थी, वहां से करीब डेढ़ किलोमीटर दूर एक मैदान में अंतिम अरदास की तैयारी पूरी कर ली गई है। देर शाम भारतीय किसान यूनियन के अध्यक्ष राकेश टिकैत भी लखीमपुर पहुंच गए हैं। अन्य राज्यों से भी किसान पहुंच रहे हैं। राकेश टिकैत के साथ भाकियू टिकैत के कई वरिष्ठ नेता भी किसानों की अंतिम अरदास में शामिल होने के लिए उनके साथ पहुंचे। यहां मंगलवार को होने वाले किसानों की अंतिम अरदास में हिस्सा लेंगे। उत्तर प्रदेश के विभिन्न जिलों के साथ देश के अन्य राज्यों के विभिन्न कृषि संघों के किसान और नेता तिकुनिया में अरदास और भोग कार्यक्रम में भाग लेंगे। सभी अंतिम अरदास में शामिल होकर खीरी कांड में मारे गए किसानों को श्रद्धांजलि अर्पित करेंगे। भाकियू नेता राकेश टिकैत स्वयं कार्यक्रम की व्यवस्था संभाल रहे हैं।
किसान नेताओं का स्पष्ट कहना है कि अंतिम अरदास में किसी भी राजनीतिक नेता को मंच साझा करने की अनुमति नहीं दी जाएगी। वहां संयुक्त किसान मोर्चा (एसकेएम) के नेता मौजूद होंगे। एसकेएम किसान संघों का एकछत्र संगठन है और यह तीन कृषि कानूनों के खिलाफ विरोध का नेतृत्व कर रहा है। जो पिछले वर्ष से लागू हैं।