शासन ने ग्रेनो संस्थागत योजना के भूखंड आवंटन की जांच के दिए आदेश
ग्रेटर नोएडा : योगी सरकार ने ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण द्वारा संस्थागत योजना के तहत अलॉट किए गए सात भूखंडों की जांच के आदेश दिए हैं। ये सभी भूखंड नॉलेज पार्क एक, दो और तीन में हैं। आरोप है कि allotment के वक्त फर्जीवाड़ा किया गया। जिन कंपनियों के नाम भूखंड अलॉट किए गए, वे फर्जी थी और अस्तित्व में नहीं थी। प्राधिकरण ने अन्य आवेदन कर्ताओं के प्रार्थना पत्र बिना कारण रद्द कर दिया । आरोप है मिलीभगत कर फर्जी कंपनियों के नाम भूखंड आवंटित किया गया है । इस मामले में एसोसिएशन फॉर प्रवेंशन ऑफ करप्शन ने बीते तीन अप्रैल को सीएम योगी आदित्यनाथ से मामले की शिकायत की थी। इसके बाद सरकार ने मामले की जांच कराकर एक माह के अंदर रिपोर्ट देने के आदेश दिए हैं।
औद्योगिक अनुभाग के संयुक्त सचिव सीताराम यादव द्वारा प्राधिकरण सीईओ को भेजे पत्र में कहा गया है कि शासन ने नॉलेज पार्क दो स्थित भूखंड संख्या 22/01, 22/02 व 22/03 एवं नॉलेज पार्क एक स्थित भूखंड संख्या 01ए/4, 01ए/5 व नॉलेज पार्क तीन स्थित भूखंड संख्या 27 सी एवं 27 डी के भूखंड आवंटन की जांच के आदेश दिए हैं। एक माह में जांच कर शासन को रिपोर्ट भेजें। सभी भूखंड एक-एक एकड़ के हैं। इनका आवंटन आरक्षित पत्र के रूप में 2003 में दिखाया गया है। जबकि भूखंडों की रजिस्ट्री 2009 में की गई थी। शिकायत करने वाली एसोसिएशन का पत्र भी प्राधिकरण को भेजा गया है। आरोप है कि प्राधिकरण के तत्कालीन अधिकारियों ने मिलीभगत कर फर्जी कंपनियों के नाम भूखंड आवंटन कर दिए। भूखंड सत्ता से जुड़े लोगों के बताए जा रहे हैं। जानकारों का कहना है कि योगी आदित्यनाथ सरकार द्वारा अभी मात्र यह जांच की शुरुआत की गई है। आने वाले दिनों में जांच का दायरा और बढ़ाया जा सकता है । बसपा और सपा शासन काल में आवंटित हुए सभी तरह के भूखंडों की जांच होगी।