वाराणसी बनेगी सेफ सिटी ,निर्भया फंड से होंगे कार्य ,कमेटी गठित
महिलाओं की सुरक्षा के प्रति गंभीर प्रदेश सरकार लखनऊ की तर्ज पर बनारस को भी सेफ सिटी बना जा रही है। इस क्रम में शहर में पिंक बूथ, पिंक टॉयलेट, डायल-100 की तर्ज पर पिंक वेहिकल सहित विभिन्न संसाधन विकसित किए जाएंगे। वहीं इस संबंध में कार्ययोजना तैयार करने के लिए सात सदस्यीय टीम गठित की गई है।
एडीजी वूमेन सेल ने लखनऊ में पॉयलट प्रोजेक्ट के तौर पर शुरू सेफ सिटी प्रोजेक्ट सफल होने के बाद वाराणसी समेत 11 शहरों के लिए कार्ययोजना मांगी है। मंडलायुक्त दीपक अग्रवाल ने कार्ययोजना बनाने के लिए प्रशासन, पुलिस, ट्रैफिक, प्रोबेशन, रोडवेज, बिजली, नगर निगम के अधिकारियों की टीम गठित की है। अपर नगर मजिस्ट्रेट-चतुर्थ अमृता सिंह की अगुवाई वाली टीम शहर में विभिन्न स्थानों पर सर्वे कर महिलाओं की सुरक्षा में आ रही कमियों का आकलन करेगी। अमृता सिंह ने बताया कि हाई फुटफॉल व बाजार, घाट और शहरी सीमाओं पर महिलाओं की सुरक्षा के लिए कार्ययोजना बनेगी। महिलाओं के फीडबैक के आधार पर उनकी जरूरतों को भी कार्ययोजना में शामिल किया जाएगा। इसमें उनके स्वास्थ्य का भी ध्यान रखा जाएगा।
अमृता सिंह के अनुसार रेलवे स्टेशन, रोडवेज व एयरपोर्ट पर महिलाओं के लिए अलग काउंटर खुलेंगे। सिटी बसों में पैनिक बटन लगेगा जिसे कमांड कंट्रोल सेंटर से जोड़ा जाएगा। पिंक व्हेकिल का संचालन होगा, जो केवल से महिलाओं से जुड़ी घटनाओं पर नियंत्रण करेगा। इस पर महिला सिपाहियों को तैनात किया जाएगा। नगर निगम की मदद से शहर में पिंक टॉयलेट की संख्या बढ़ायी जाएगी। ट्रैफिक व पुलिस विभाग के सर्वे के आधार पर डार्क स्पॉट चिह्नित होंगे। वहां लाइटिंग व पुलिसिंग बढ़ायी जाएगी। महिलाओं को कानूनी मदद के लिए हेल्प डेस्क खोले जाएंगे। पूर्व में संचालित डेस्क सक्रिय होंगे।
निर्भया फंड से होंगे कार्य
अमृता सिंह ने बताया कि प्रोजेक्ट पर निर्भया फंड से पैसा खर्च होगा। इस धन से ढांचागत विकास के साथ कार्यक्रम और सेवाएं शुरू की जाएंगी।