इलेक्रामा-2020 की शानदार शुरुआत – 1300 से अधिक प्रदर्शकों ने किया दुनिया को ऊर्जा देने वाले इनोवेशंस का प्रदर्शन
– इंडियन इलेक्ट्रिकल एंड इलेक्ट्रॉनिक मैन्युफैक्चरर्स एसोसिएशन (आईईईएमए) द्वारा आयोजित, इलेक्ट्रॉनिक्स का समागम विद्युत और इलेक्ट्रॉनिक नवाचारों का सबसे बड़ा शोकेस, जिसमें शामिल हुए हैं 60 देशों के प्रदर्शक और 120 देशों के प्रतिभागी।
– इलेक्रामा-2020 में नवीकरणीय ऊर्जा, अगली पीढ़ी की टैक्नोलाॅजी, आॅटोमेशन, डिजिटल समाधानों और खरीदारों एवं विक्रेताओं की बैठकों पर दिया जाएगा जोर।
– इस बार के आयोजन की प्रमुख खूबियां- बिजली क्षेत्र में महिलाओं को प्रोत्साहित करना, सुरक्षित आंतरिक स्थानों के लिए विद्युत प्रणाली का निर्माण करना और रेलवे का विद्युतीकरण।
ग्रेटर नोएडा: इंडिया एक्सपो सेंटर में आज दुनिया की सबसे बड़ी बिजली प्रदर्शनी – ‘इलेक्रामा-2020‘ का भव्य और चकाचैंध भरा उद्घाटन हुआ।
विद्युत उद्योग के शीर्ष निकाय इंडियन इलेक्ट्रिकल एंड इलेक्ट्रॉनिक मैन्युफैक्चरर्स एसोसिएशन (आईईईएमए) की प्रमुख पहल ‘इलेक्रामा-2020‘ में इंडस्ट्री से संबंधित नवाचारों का सबसे बड़ा सार्वजनिक प्रदर्शन होगा। इस दौरान 18 से 22 जनवरी 2020 तक देश और विदेश के 1370 से अधिक प्रदर्शकों द्वारा इनोवेशंस का प्रदर्शन किया जाएगा।
इस कार्यक्रम में केंद्रीय भारी उद्योग और सार्वजनिक उद्यम मंत्री श्री प्रकाश जावड़ेकर, केंद्रीय नवीन और नवीकरणीय ऊर्जा राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) श्री आर के सिंह और उत्तरप्रदेश के औद्योगिक विकास मंत्री श्री सतीश महाना की गरिमापूर्ण उपस्थिति रही। उनके साथ आईईईएमए के प्रेसीडेंट श्री आर के चुघ और इलेक्रामा-2020 के चेयरमैन श्री अनिल साबू और कई अन्य गणमान्य व्यक्ति भी मौजूद रहे।
इलेक्रामा के 14 वें संस्करण में सभी का स्वागत करते हुए आईईईएमए के प्रेसीडेंट श्री आर के चुघ ने कहा, ‘‘इलेक्ट्रिकल और इलेक्ट्राॅनिक्स के क्षेत्रों में इंडियन इलेक्ट्रिकल एंड इलेक्ट्रॉनिक मैन्युफैक्चरर्स एसोसिएशन की व्यापक पहुंच है और 55 प्रतिशत पूंजीगत सामान और देश के 42 बिलियन डॉलर के टॉप-लाइन उत्पाद इसमें शामिल हैं। हम सरकार की 5 ट्रिलियन डाॅलर की अर्थव्यवस्था के विजन का समर्थन करते हैं और हमारा लक्ष्य है कि हमारी टाॅप लाइन 2024-25 तक 1 बिलियन डाॅलर के लक्ष्य तक पहुँच सके। इसी दिशा में आगे बढ़ते हुए हम विभिन्न क्षेत्रों में कार्यबल की रीस्किलिंग और उनकी स्किल को अपग्रेड करने का प्रयास कर रहे हैं। इसके साथ ही हम एआई और आईओटी जैसे तकनीकी विकास को शामिल करने के दृष्टिकोण के साथ कौशल उन्नयन पर भी ध्यान केंद्रित कर रहे हैं। ये इलेक्रामा-2020 की खास पहचान हैं।”
यह बताते हुए कि इलेक्रामा पिछले कुछ वर्षों में कैसे विकसित हुआ है, ‘इलेक्रामा-2020‘ के चेयरमैन श्री अनिल साबू ने कहा, “ऊर्जा में ही समृद्धि छिपी है। 1990 से 2020 तक की यात्रा अनुकरणीय है क्योंकि प्रदर्शनी का विस्तार 9000 से बढ़कर 1.10 लाख वर्ग मीटर तक हो गया है। इसके अलावा प्रदर्शकों की संख्या भी 100 से बढ़कर 2020 में 1370 से अधिक हो गई है। दुनिया भर में अपनी पहुंच बढ़ाने के लिहाज से इलेक्रामा भारतीय विद्युत उद्योग के लिए एक अतुलनीय प्लेटफाॅर्म साबित हुआ है।”
इस अवसर पर अपने विचार व्यक्त करते हुए केंद्रीय भारी उद्योग और सार्वजनिक उद्यम मंत्री श्री प्रकाश जावड़ेकर ने कहा, ‘‘विचारों का आदान-प्रदान करने और सीखने के लिहाज से इलेक्रामा-2020 एक शानदार अवसर है। हम समझते हैं कि उद्योग के कामकाज का सामाजिक कारणों से जुड़ाव होना ही चाहिए। हम राष्ट्र के विकास के लिए उद्योग की सिफारिशों की तरफ उत्सुकता से देख रहे हैं।”
केंद्रीय नवीन और नवीकरणीय ऊर्जा राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) श्री आर के सिंह ने कहा, “भारत उगते हुए सूरज का देश है और तमाम अवरोधों के बावजूद आज भारत की गिनती सबसे तेजी से बढ़ती बड़ी अर्थव्यवस्थाओं में होती है। भारत ने 367 गीगावाॅट स्थापित बिजली उत्पादन क्षमता हासिल की है। हमने देश को एक एकीकृत ग्रिड से जोड़ा है, जो दुनिया में सबसे बड़ा है, और हम इसकी क्षमता में लगातार बढ़ोतरी कर रहे हैं।”
राज्य में इलेक्रामा-2020 का स्वागत करते हुए उत्तरप्रदेष के औद्योगिक विकास मंत्री श्री सतीश महाना ने कहा, “पिछले 2 वर्षों में हमने राज्य में 1.2 करोड़ नए कनेक्शन दिए। राज्य सरकार का हर साल 2000 मेगावाट सौर ऊर्जा जोड़ने का लक्ष्य है। यूपी सरकार उद्योग के साथ अपने संबंधों को और मजबूत करने के लिए तत्पर है। हम भारत के सबसे बड़े राज्य में निवेश करने के लिए उद्योग का गर्मजोशी से स्वागत करते हैं।”
इलेक्रामा-2020 में 300 से अधिक अंतरराष्ट्रीय और 1000 भारतीय प्रदर्शक तकनीकी नवाचारों का प्रदर्शन कर रहे हैं, जो जेनरेशन, ट्रांसमिशन, डिस्ट्रीब्यूशन, पावर इलेक्ट्रॉनिक्स, रिन्यूएबल्स, इलेक्ट्रोमोबिली, ऑटोमेशन और पावर स्टोरेज से संबंधित इलेक्ट्रिसिटी के संपूर्ण ईकोसिस्टम को कवर करते हैं।
पांच दिवसीय इस समागम में उद्योग के राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय विशेषज्ञ और नीति निर्माता भी हिस्सा ले रहे हैं, जो इस दौरान उद्योग की चुनौतियों, नवाचारों और व्यापार मॉडल पर शिखर सम्मेलन और बैठकों की एक श्रृंखला के माध्यम से विचार-विमर्श करेंगे। इसके अलावा, 5 वें रिवर्स बायर्स सेलर्स मीट एंड डोमेस्टिक बायर्स सेलर्स मीट में प्रीमियर शोकेस इवेंट दुनिया में बिजली पारेषण और वितरण के सबसे बड़े संगम की मेजबानी करेगा।
1990 में अपने पहले संस्करण के बाद से, इलेक्रामा-2020 विशेष रूप से उद्योग में महिलाओं की भूमिका पर पहली बार ध्यान केंद्रित करेगा। साथ ही घरों, कार्यालयों और उद्योगों के लिए मजबूत विद्युत प्रणाली का निर्माण, और रेलवे के पूर्ण विद्युतीकरण की दिशा में आगे बढ़ने के तौर-तरीकों पर चर्चा करेगा। डिजिटल प्रौद्योगिकियों, आईओटी और एआई पावर्ड इलेक्ट्रिकल सिस्टम और अन्य स्मार्ट-टेक समाधानों को भी इस कार्यक्रम में प्रदर्शित किया जा रहा है।
अपनी किस्म के अनूठे और इकलौते इंडस्ट्री प्लेटफाॅर्म के 30 साल पूरे होने पर, इलेक्रामा-2020 को नवीन और नवीकरणीय ऊर्जा मंत्रालय, ऊर्जा मंत्रालय, भारी उद्योग और सार्वजनिक उद्यम मंत्रालय, और सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यम मंत्रालय की ओर से समर्थन हासिल है। उत्तर प्रदेश मेजबान राज्य भागीदार है, जबकि जर्मनी इलेक्रामा के 14 वें संस्करण में कंट्री पार्टनर है।
‘इलेक्रामा 2020’ के बारे में
‘इलेक्रामा’ 18 जनवरी से 22 जनवरी, 2020 तक ग्रेटर नोएडा के इंडिया एक्सपो मार्ट में इंडियन इलेक्ट्रिकल एंड इलेक्ट्रॉनिक्स मैन्युफैक्चरर्स एसोसिएशन (आईईईएमए) द्वारा आयोजित इलेक्ट्रिसिटी वल्र्ड का सबसे बड़ा शोकेस है।
यह हमारी प्लेनेट को पावर देने वाले समाधानों का समूचा स्पेक्ट्रम पेश करता है, जिसमें उपकरण और तकनीक से लेकर तकनीकी सम्मेलनों और उद्योग के शिखर सम्मेलनों के लिए नेतृत्वकारी प्लेटफार्म शामिल हैं।