समाजवादी पार्टी के इस मुस्लिम नेता ने अखिलेश पर साधा निशाना, पार्टी से इस्तीफा
नोएडा : उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री और समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव मुस्लिम विरोधी होने के साथ-साथ अपने पिता मुलायम सिंह यादव को पार्टी से दूर करने में लगे हुए हैं जिसका परिणाम उन्हें लोकसभा और विधानसभा के चुनाव में मिल गया. आने वाले 2022 में अखिलेश यादव हो सकता है कि एक भी सीट उत्तर प्रदेश में न पाए. यह बातें समाजवादी पार्टी के मुस्लिम नेता और पूर्व लोकसभा प्रत्याशी एहसान खान ने आज पार्टी से इस्तीफा देते हुए मीडिया से कही . उन्होंने कहा कि अखिलेश यादव अपने घर में पिता और चाचा दोनों की इज्जत नहीं करते हैं. अखिलेश यादव आज के समय में आरएसएस और बीजेपी के तर्ज पर काम कर रहे हैं. खान ने आरोप लगाया कि लखनऊ में हुए विवेक तिवारी की हत्या में जहां अखिलेश यादव ने 5 करोड़ रूपये की सहायता की है वहीं उन्होंने अलीगढ़ में फर्जी एनकाउंटर में मारे गए नौशाद और मुस्तकीम के लिए एक शब्द में नहीं बोला.
आज के समय में समाजवादी पार्टी पूरी तरह से टूटने वाली है और अखिलेश यादव की मुस्लिम विरोधी नीतियों के चलते अब पार्टी में मुस्लिम नेताओं की संख्या ना के बराबर रह जाएगी . उन्होंने कहा कि आगामी चुनाव में अखिलेश यादव अगर अगर मायावती से गठबंधन करते है तो उत्तर प्रदेश में समाजवादी पार्टी का जनाधार खत्म हो जाएगा . खान ने अपनी बातों में समाजवादी सेक्युलर मोर्चा में शामिल होने का भी इशारा किया. उनका कहना है कि आने वाले समय में प्रदेश में अखिलेश यादव से अच्छा नेता शिवपाल यादव बनेंगे जो सभी को साथ लेकर आगे बढ़ गए हैं. उन्होंने अखिलेश यादव पर आरोप लगाते हुए कहा कि अपने पिता मुलायम सिंह यादव को राजनीति और सामाजिक रुप से बेदखल कर दिया है और उन्हें घुट घुट कर जीने पर मजबूर कर दिए हैं. — साभार : विक्रम पाण्डेय